भोपाल। 24 फरवरी की तारीख मध्यप्रदेश के इतिहास में दर्ज हो गई। सोमवार का दिन राज्य के लिए बड़ा दिन रहा। एक तरफ राजधानी भोपाल के मानव संग्रहालय में वैश्विक सम्मेलन ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट-2025 की शुरुआत हुई तो, दूसरी तरफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रदेश के विकास के लिए 18 नई नीतियां लॉन्च कीं। कार्यक्रम की शुरुआत में मुख्यमंत्री मोहन यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का अंगवस्त्रम पहनाकर और स्मृति चिन्ह भेंटकर स्वागत किया। कार्यक्रम में विश्वभर से आए हजाओं उद्योगपतियों-निवेशकों ने भाग लिया।
- इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि राजाभोज की पावन नगरी में आप सबका स्वागत करना मेरे लिए गर्व की बात है। यहां अलग-अलग सेक्टर के साथी आए हुए हैं।
- विकसित मध्यप्रदेश से विकसित भारत के इस भव्य आयोजन के लिए मैं मुख्यमंत्री मोहन यादव और उनकी पूरी टीम को बधाई देता हूं।
- विकसित मध्यप्रदेश से विकसित भारत के इस भव्य आयोजन के लिए मैं मुख्यमंत्री मोहन यादव और उनकी पूरी टीम को बधाई देता हूं।
- भारत के इतिहास में ऐसा अवसर पहली बार आया है, जब दुनिया भारत को लेकर आशान्वित है। पूरी दुनिया में सामान्यजन हो, एक्सपर्ट हो या संस्थाएं हों, सभी को भारत से बहुत आशाएं हैं।
- अर्थव्यवस्था बना रहेगा।
- कुछ दिन पहले क्लाइमेंट चेंज पर यूएन की एक संस्था ने भारत को सोलर पावर की सुपर संस्था कहा था। उन्होंने कहा कि भारत जो कहता है करके दिखाता है।
- हाल में एक रिपोर्ट आई है, जिसमें कहा गया है कि भारत एक ग्लोबल सप्लाई चेन के रूप में उभर रहा है। ऐसे कई उदाहरण हैं, जो भारत के ऊपर दुनिया के विश्वास को दर्शाते हैं।
- यही विश्वास हम मध्यप्रदेश में महसूस कर रहे हैं। मध्यप्रदेश आबादी के हिसाब से देश का पांचवा बड़ा प्रदेश है। कृषि में अग्रणी है। खनन में भी आगे हैं। इसे मां नर्मदा का आशीर्वाद मिला है।
एमपी में लॉजिस्टिक्स की अपार संभावनाएं- पीएम मोदी
उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश में वो क्षमता है, जो देश के शीर्ष 5 राज्यों में आ सकता है। एक समय था जब यहां बिजली-पानी और कानून व्यवस्था की स्थिति बदतर थी। उन हालातों में औद्योगिकीकरण का विकास असंभव था। बीजेपी सरकार आई तो स्थिति सुधरी है। 2 दशक पहले लोग मध्यप्रदेश में निवेश करने से डरते थे। जिस मध्यप्रदेश में बसें तक ठीक से नहीं चल पाती थीं, वो एमपी इलेक्ट्रिक व्हीकल के मामले में तेज गति से बढ़ रहा है। जनवरी 2025 तक यहां 2 लाख ईवी रजिस्टर हुए हैं। मैं सीएम मोहन यादव को बधाई देता हूं कि उन्होंने 2025 को उद्योग वर्ष के रूप में मनाने का फैसला लिया है। देश में इंक्रा विकास का फायदा मध्यप्रदेश को मिला है। दिल्ली-मुंबई नेशनल हाइवे का बड़ा हिस्सा यहीं से गुजरता है। यहां 5 लाख किमी का रोड नेटवर्क है। मध्यप्रदेश में लॉजिस्टिक्स की अपार संभावनाएं हैं। एनर्जी सेक्टर में आए बूम का मध्यप्रदेश को लाभ मिला है। यहां 31 हजार मेगा वॉट सरप्लस एनर्जी है, जिसमें 30 फीसदी रिन्युएबल एनर्जी है। कुछ दिन पहले ओंकारेश्वर में सोलर प्रोजक्ट का शुभारंभ हुआ है।